Success Story: पीएम मोदी से मिली प्रेरणा, यूपी के इस लड़के ने 'गुड़' बेचकर कमाए लाखों रुपए, महिलाओं को भी बना दिया आत्मनिर्भर

Success Story: पीएम मोदी से मिली प्रेरणा, यूपी के इस लड़के ने 'गुड़' बेचकर कमाए लाखों रुपए, महिलाओं को भी बना दिया आत्मनिर्भर
Last Updated: 01 दिसंबर 2024

दिल्ली के प्रगति मैदान में आयोजित अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेला इस बार खास था, क्योंकि यहां खादी इंडिया मंडप के तहत ऐसे कई छोटे व्यवसायियों को अपनी पहचान बनाने का मौका मिला। इनमें से एक खास स्टॉल आकर्षण का केंद्र बनी थी, जो बनारस से आए एक युवक ने लगाई थी। इस युवक ने ‘औषधीय गुड़’ बेचकर न केवल खुद को सफल बनाया, बल्कि अपने गांव की महिलाओं को भी आत्मनिर्भर बना दिया। आइए, जानते हैं इस लड़के की सफलता की कहानी और कैसे वह आज लाखों रुपये कमा रहा हैं।

मां से मिली प्रेरणा, अब देशभर में है पहचान

उत्तर प्रदेश के वाराणसी जिले के एक छोटे से गांव के निवासी अवधेश मौर्या की कहानी संघर्ष और मेहनत की मिसाल है। अवधेश का जीवन संघर्षों से भरा हुआ था, लेकिन उनकी मां से मिली प्रेरणा ने उनका जीवन बदल दिया। मकर संक्रांति के दिन उनके घर में गुड़ और तिल के लड्डू बनाए जाते थे, जिन्हें उनकी मां बाजार में बेचती थीं। यहीं से अवधेश को गुड़ बनाने का आइडिया आया, लेकिन यह सिर्फ एक साधारण गुड़ नहीं था। उन्होंने इसे औषधीय गुणों से भरपूर बनाया।

अवधेश ने बताया कि जब उन्होंने इस गुड़ को बेचना शुरू किया, तो लोगों ने इसकी तारीफ की। इसके बाद, उन्होंने अपनी मेहनत और परिश्रम से इसे एक बड़ा व्यवसाय बना दिया। लेकिन कहानी यहीं खत्म नहीं हुई, वे इससे भी आगे बढ़े।

पीएम मोदी से मिली सलाह ने किया कमाल

अवधेश के जीवन में एक और महत्वपूर्ण मोड़ आया, जब उन्हें गुड़ के बिजनेस के बारे में सरकार की ओर से एक बड़ा ऑफर मिला। उन्होंने बताया कि एक दिन मंत्रालय से उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने का मौका मिला। मोदी जी ने उन्हें एक बेहतरीन आइडिया दिया, "आप अपने नॉर्मल गुड़ में कुछ अलग चीजें मिलाकर कई तरह के गुड़ के लड्डू बना सकते हैं।"

इस सलाह के बाद, अवधेश ने अपने गुड़ में अदरक, इलायची, तिल, सौंठ, नारियल, मूंगफली और अलसी जैसी सामग्री डालकर औषधीय गुड़ के लड्डू तैयार किए। अब वह सात प्रकार के गुड़ लड्डू बनाते हैं और उनका ब्रांड 'खगराज' तेजी से पहचान बना रहा हैं।

महिलाओं को मिला रोजगार

अवधेश का व्यवसाय अब केवल उनका निजी लाभ नहीं है। उन्होंने अपने गांव की हजारों महिलाओं को रोजगार प्रदान किया है। इन महिलाओं को गुड़ बनाने का काम सौंपकर वे उन्हें आत्मनिर्भर बना रहे हैं। अब गांव की महिलाएं घर बैठे ही गुड़ बनाने का काम करती हैं और इससे उनका जीवन स्तर सुधर रहा है।

अवधेश ने कहा, "मैंने जो काम शुरू किया था, वह केवल अपने लिए नहीं था। मेरी सबसे बड़ी खुशी यह है कि मेरी मेहनत ने गांव की महिलाओं को रोजगार दिया है। वे अब आत्मनिर्भर हो गई हैं और मुझे इससे बहुत संतोष मिलता हैं।"

औषधीय गुड़ की सेहत के फायदे

अवधेश का गुड़ न केवल स्वादिष्ट होता है, बल्कि यह स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद है। वह अपने गुड़ में अदरक, तिल, इलायची, मूंगफली जैसी सामग्री मिलाते हैं, जिससे यह औषधीय गुणों से भरपूर हो जाता है। इस गुड़ के सेवन से शरीर को ऊर्जा मिलती है और यह पाचन तंत्र को भी सुधारता है।

वर्तमान में, अवधेश का 400 ग्राम प्लेन गुड़ 80 रुपये में बिकता है, जबकि फ्लेवर या औषधीय गुड़ की कीमत 120 रुपये है। उनकी इस औषधीय गुड़ की बिक्री दिल्ली के कनॉट प्लेस स्थित खादी इंडिया में भी होती है।

नैतिकता और व्यापार में संतुलन

अवधेश की सफलता यह साबित करती है कि अगर आपके पास सही दिशा और मेहनत हो, तो किसी भी परिस्थिति में सफलता पाई जा सकती है। उनके लिए व्यापार केवल लाभ कमाने का जरिया नहीं है, बल्कि यह एक ऐसा तरीका है जिससे वह समाज को बेहतर बना सकते हैं और दूसरे लोगों को रोजगार दे सकते हैं।

अवधेश मौर्या की कहानी प्रेरणादायक है और यह दिखाती है कि कभी भी छोटी शुरुआत से बड़ी सफलता की ओर कदम बढ़ाए जा सकते हैं। वह अब केवल अपने गांव में ही नहीं, बल्कि देशभर में अपनी पहचान बना रहे हैं।

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