कांग्रेस के नेता पंचराम यादव ने अपनी पत्नी और दो बेटों के साथ जहर खाकर आत्महत्या कर ली। इस दुखद घटना में उनके बड़े बेटे नीरज की सबसे पहले सिम्स में उपचार के दौरान मौत हुई।
बिलासपुर: छत्तीसगढ़ के जांजगीर से एक बेहद दुखद घटना सामने आई है। कांग्रेस नेता पंचराम यादव ने अपनी पत्नी और दो बेटों के साथ जहर पीकर आत्महत्या कर ली। इस घटना में नेता के बड़े बेटे नीरज कुमार (28) की सिम्स में इलाज के दौरान सबसे पहले मौत हो गई। इसके बाद बिलासपुर के एक निजी अस्पताल में इलाज के दौरान तीनों की हालत बिगड़ती चली गई और सुबह होते-होते तीनों की भी मौत हो गई। यह घटना इलाके में शोक की लहर छोड़ गई है और लोगों को हैरान कर दिया हैं।
दरवाजे पर लगा हुआ था ताला
जानकारी के मुताबिक शारदा चौक में रहने वाले जांजगीर के निवासी पंचराम यादव (66 वर्ष) उनकी पत्नी नंदनी यादव (55 वर्ष) और उनके पुत्र नीरज यादव (बंटी) (28 वर्ष) तथा सूरज यादव (25 वस्रह) ने 30 अगस्त को सामूहिक रूप से जहर का सेवन कर लिया। बता दें परिवार ने यह सुनिश्चित करने के लिए कि सभी घर से बाहर गए है, उन्होंने सामने वाले दरवाजे और पीछे के दरवाजे को ताला लगाकर अंदर से बंद कर दिया।
सभी के मोबाइल फोन भी थे बंद
जानकारी के अनुसार पड़ोस की एक लड़की अक्सर उनके घर आती-जाती थी। जब वह दोपहर 12 बजे उनके घर पहुंची और देखा कि दरवाजा बंद है, तो उसने पीछे से जाकर आवाज लगाई, लेकिन किसी ने दरवाजा नहीं खोला। कई बार वह दरवाजे के पास आई, लेकिन ताले को लटकता देखकर वापस लौट गई। जब उसे कुछ अनहोनी की आशंका हुई, तो उसने शाम सात बजे आसपास के लोगों को इस बारे में सूचित किया।
जब पड़ोसी और उसके परिजन अंदर गए, तो सभी गंभीर अवस्था में पड़े थे। उनके मुंह से झाग निकल रहा था और उन्होंने उल्टी भी की थी। लोगों की मदद से उन्हें रात लगभग आठ बजे जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। यहां उनकी गंभीर स्थिति को देखते हुए उन्हें रात में ही सिम्स बिलासपुर रेफर किया गया। सिम्स में देर रात पंचराम के बड़े बेटे नीरज यादव की मौत हो गई।
कर्जदार से परेशान था पूरा परिवार
पुलिस को पूछताछ के दौरान आसपास के लोगों ने बताया कि इनका बाजार में कर्ज बढ़ गया था और पंचराम लोगों से कहते भी थे कि उनके सर पर कर्ज बहुत हो गया है इससे वे बहुत ज्यादा परेशान हैं। बहरहाल सच्चाई का पता जांच के बाद ही चलेगा। पुलिस ने कहा कि यह जांच ही बता पाएगी कि कर्ज कितना था और क्या वास्तव में पंचराम इस कर्ज से परेशान होकर ही परिवार के साथ आत्महत्या की हैं।