ग़ाज़ीपुर — पाक्सो अदालत ने सौतेली 1 वर्षीय बेटी के साथ दुष्कर्म के दोषी पिता को सिर्फ 11 दिन में आजीवन कारावास की सजा सुनाई है, साथ ही उस पर ₹1,00,000 (एक लाख रुपये) का जुर्माना लगाया गया है।
घटना की रूपरेखा
घटना 18 जुलाई 2025 की है। आरोपी पिता अपनी पत्नी — जो इस बच्ची की माँ भी हैं — को धान की रोपाई के लिए भेज गया था। जब वह शाम को लौटी, तो देखा कि बच्ची रो रही थी और उसके कपड़ों पर खून लगा था।
महिला ने पति से जब पूछा, तो उसने संतोषजनक जवाब नहीं दिया। इसके बाद 20 जुलाई 2025 को उसने थाने में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने मामला दर्ज किया, चार्जशीट दायर की, और न्यायालय ने 11 दिनों की सुनवाई में दोषी पिता को सजा सुनाई। दावा है कि दोषी पर जुर्माना पुनर्वास कार्यों के लिए लगाया गया है। सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष ने 5 गवाह पेश किये।
टिप्पणी
यह मामला न सिर्फ एक हृदय विदारक घटना है, बल्कि न्यायप्रणाली की तीव्र प्रतिक्रिया का उदाहरण भी है। धर्म, समाज या परंपराओं की आड़ में ऐसे अपराधों को कभी भी नकारना नहीं चाहिए — कानून और न्याय की व्यवहार्यता ही ऐसे मामलों में सबसे बड़ी सुरक्षा है।